December 19, 2025

Raigarh रायगढ़ में 19 हजार से अधिक किसानों ने बेचा धान,10 लाख क्विंटल से अधिक खरीदी

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samna.in रायगढ़ जिले में धान खरीदी अभियान तेजी से आगे बढ़ रहा है। जिले में 19 हजार 578 किसानों से अब तक कुल 1091317.20 क्विंटल धान की खरीदी की जा चुकी है। इसके एवज में किसानों को 25853.30 लाख रुपये की भुगतान राशि जारी की गई है।
     कलेक्टर  मयंक चतुर्वेदी ने कहा कि सभी नोडल अधिकारी अपने-अपने प्रभार वाले धान उपार्जन केंद्रों का नियमित भौतिक सत्यापन सुनिश्चित करें तथा कोचियों एवं बिचौलियों की गतिविधियों पर सतत एवं कड़ी निगरानी रखें। यदि धान खरीदी प्रक्रिया के दौरान किसी भी प्रकार की समस्या उत्पन्न होती है,तो नोडल अधिकारी तत्काल संबंधित एसडीएम को सूचित करें, ताकि समय रहते निराकरण सुनिश्चित किया जा सके।

जहां धान उपार्जन केंद्रों में निर्धारित बफर स्टॉक से अधिक धान का संधारण हो गया है, वहां धान उठाव की कार्यवाही तत्काल कराने के निर्देश दिए गए हैं, जिससे भंडारण की समस्या न हो और खरीदी कार्य निर्बाध रूप से जारी रह सके। इसके साथ ही उन्होंने धान विक्रय कर चुके किसानों का रकबा समर्पण की कार्यवाही में तेजी लाने के निर्देश दिए गए। बता दें कि कलेक्टर द्वारा प्रतिदिन नोडल अधिकारियों की समीक्षा बैठक लेकर धान खरीदी व्यवस्था को और अधिक सुदृढ़ बनाने के लिए लगातार निर्देश दिए जा रहे है, जिससे किसानों को सहुलियत मिल रही है और धान खरीदी अभियान तेजी से आगे बढ़ रहा है।

अवैध धान परिवहन और भंडारण पर 126 कार्रवाइयां, 28,887.20 क्विंटल धान जब्त

प्रशासन द्वारा धान के अवैध परिवहन एवं भंडारण पर कड़ी निगरानी रखी जा रही है। अब तक 126 मामलों में कार्रवाई करते हुए 28,887.20 क्विंटल धान जब्त किया गया है, जिससे अवैध गतिविधियों पर प्रभावी नियंत्रण स्थापित हुआ है। धान उपार्जन के साथ-साथ रकबा समर्पण की प्रक्रिया भी सुचारू रूप से संचालित की जा रही है। जिले में अब तक 9,100 कृषकों द्वारा कुल 859.37 हेक्टेयर रकबा समर्पण किया गया है, जिसे प्रशासनिक रिकॉर्ड में विधिवत दर्ज किया गया है।

बुधवार के लिए 1,48,776.10 क्विंटल धान खरीदी का लक्ष्य

बुधवार के लिए जिले में 1,48,776.10 क्विंटल धान खरीदी का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। किसानों की सुविधा के लिए अब तक 38,230 ऑनलाइन टोकन जारी किए जा चुके हैं, जिससे निर्धारित तिथि पर बिना अव्यवस्था के धान विक्रय संभव हो पा रहा है। कलेक्टर के निर्देशानुसार उपार्जन केंद्रों में छाया, पेयजल, बैठने, तौल एवं त्वरित भुगतान जैसी व्यवस्थाओं से किसान संतुष्ट नजर आ रहे हैं।